नई दिल्ली टोक्यो ओलंपिक में पीवी सिंधू के पदक जीतने के बाद दुनिया भर में सुर्खियां बटोरने वाले कोरियाई कोच पार्क ताई संग ने अपनी मांग बढ़ा ...
नई दिल्ली
टोक्यो ओलंपिक में पीवी सिंधू के पदक जीतने के बाद दुनिया भर में सुर्खियां बटोरने वाले कोरियाई कोच पार्क ताई संग ने अपनी मांग बढ़ा दी है। सिंधू का पदक आने के बाद पार्क ने बैडमिंटन एसोसिएशन ऑफ इंडिया (बीएआई) और साई के समक्ष अपना वेतन दो गुना से भी अधिक करने की मांग रखी है। सिंधू पार्क को खोना नहीं चाहती हैं। बीएआई ने साई से पार्क का वेतन 10 हजार अमेरिकी डॉलर प्रति माह (लगभग साढ़े सात लाख रुपये) करने की सिफारिश की है, जिस पर अंतिम मुहर लगना तय है।
पार्क को सिंधू के अलावा अन्य को देना होगा प्रशिक्षण
पार्क को शुरुआत में सवा चार लाख रुपये मिलते थे। बाद में उनका वेतन सवा पांच लाख रुपये कर दिया गया। अब पार्क मोटा वेतन चाह रहे हैं। सूत्रों के मुताबिक उनकी मांग 15 हजार अमेरिकी डॉलर के आसपास थी, लेकिन उन्हें स्पष्ट कर दिया गया कि यह संभव नहीं है। समझौता 10 हजार डॉलर में हो गया है। सूत्र यह भी बताते हैं कि साई पार्क के वेतन में तो बढ़ोतरी करेगा, लेकिन उन्हें सिंधू के साथ दूसरों को भी कोचिंग देनी होगी। ये शटलर कौन से होंगे इन पर फैसला बाद में होगा।
सांतोसो छोड़कर गए
साई ने ओलंपिक खत्म होने के बाद अब तक किसी विदेशी कोच का अनुबंध पूरे समय के लिए नहीं बढ़ाया है। नतीजन विदेशी कोचों के जाने का सिलसिला शुरू हो गया है। किदांबी श्रीकांत और बी साई परणीथ को कोचिंग देने वाले इंडोनेशियाई कोच आगुस डि सांतोसो इसका ताजा उदाहरण हैं। सांतोसो अगले ओलंपिक तक अनुबंध बढ़ाने की मांग कर रहे थे। इस पर बीएआई और साई ने फैसला नहीं लिया। इस बीच सांतोसो के पास थाईलैंड से प्रस्ताव आया और वह चले गए। सात्विकसाईराज रैंकीरेड्डी और चिराग शेट्टी को कोचिंग देने वाले डेनमार्क के दिग्गज मथायस बोए का भी अनुबंध खत्म हो चुका है।
बचे हुए प्रशिक्षकों को रोकना चुनौती
बैडमिंटन में सिर्फ चार विदेशी कोच बचे हैं। इनमें पार्क के अलावा ड्वी क्रिस्टियावन, मोहम्मद मिफ्ताक और नामरीह सुरोतो (डबल्स) शामिल हैं। बीएआई ने साई को साफ कर दिया है कि विदेशी कोच पर जल्द फैसला लिया जाए। वरना बचे हुए प्रशिक्षकों को रोकना भी मुश्किल होगा।
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